
टिहरी में पार्टी विधायक किशोर उपाध्याय और कुछ समय पहले भाजपा में शामिल हुए पूर्व मंत्री दिनेश धनै के मध्य टीएचडीसी में ठेकों को लेकर चल रहा आरोप-प्रत्यारोप सुर्खियां बना है। इसके साथ ही टिहरी से भाजपा के प्रदेश कार्यकारिणी सदस्य खेम सिंह चौहान ने इंटरनेट मीडिया पर पार्टी लाइन के विरुद्ध जाकर पोस्ट की थी। उधर, रानीखेत में विधायक प्रमोद नैनवाल और दायित्वधारी कैलाश पंत के बीच मारपीट के एक मामले में जुबानी जंग चरम पर है।
इन सब मामलों ने विपक्ष को बैठे-बिठाए मुद्दा दे दिया और उसने इन्हें लपकने में देर भी नहीं लगाई। परिणामस्वरूप, पार्टी नेताओं की बयानबाजी से भाजपा असहज हुई है। भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष महेंद्र भट्ट ने इसे गंभीरता से लिया है और पांचों नेताओं को अपना पक्ष रखने के लिए रविवार को देहरादून तलब किया है। माना जा रहा है कि इसके बाद भी यदि ये नेता नहीं माने तो इनके विरुद्ध पार्टी अनुशासनात्मक कार्रवाई भी कर सकती है।
उधर, भाजपा के प्रदेश महामंत्री आदित्य कोठारी ने कहा कि भाजपा में आंतरिक लोकतंत्र है। यदि किसी का कोई विषय है तो उसे पार्टी फोरम में रखना चाहिए, न कि सार्वजनिक रूप से आरोप-प्रत्यारोप करना चाहिए।